सूर्यप्रज्ञप्ति-चन्द्रप्रज्ञप्ति : श्रुतस्थविरप्रणीत-उपाङ्गसूत्रद्वय : मूलपाठ, प्रस्तावना तथा परिशिष्ट युक्त
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書誌事項
- タイトル
- "सूर्यप्रज्ञप्ति-चन्द्रप्रज्ञप्ति : श्रुतस्थविरप्रणीत-उपाङ्गसूत्रद्वय : मूलपाठ, प्रस्तावना तथा परिशिष्ट युक्त"
- 責任表示
- आद्यसंयोजक तथा प्रधान सम्पादक, युवाचार्य मिश्रीमलजी महाराज "मधुकर" ; सम्पादक, मुनि कन्हैयालालजी "कमल" ; मुख्य सम्पादक, शोभाचन्द्र भारिल्ल
- 出版者
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- श्री आगम प्रकाशन समिति
- 2. संस्करण
- 出版年月
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- 1995
- 書籍サイズ
- 26 cm
- タイトル別名
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- सूर्यप्रज्ञप्ति चन्द्रप्रज्ञप्ति : श्रुतस्थविर प्रणीत उपाङ्ग सूत्र द्वय : मूल पाठ, प्रस्तावना तथा परिशिष्ट युक्त
- Sūryaprajnapti-Chandraprajnapti : original text, introduction and appendices
- सूर्यप्रज्ञप्ति चन्द्रप्रज्ञप्ति : श्रुतस्थविर प्रणीत उपाङ्ग सूत्र द्वय : मूल पाठ, प्रस्तावना तथा परिशिष्ट युक्त
- सूरियपण्णत्तिसुत्तं
- सूरियपण्णत्ति सुत्तम्
- चंदपण्णत्तिसुत्तं
- चंदपण्णत्ति सुत्तम्
- सूर्यप्रज्ञप्तिसूत्र
- चन्दप्रज्ञप्तिसूत्र
- Sūriyapaṇṇattisutta
- Candapaṇṇatisutta
- 統一タイトル
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- Jaina Āgama. Upāṅga. Sūryaprajñapti
- Jaina Āgama. Upāṅga. Candraprajñapti
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注記
In Prakrit; prefatory matter and footnotes in Hindi
Added t.p. in English
"Convener & founded editor, Mishrimalji Maharaj "Madhukar" ; editor, Muni Kanhaiyalaji "Kamal" ; chief editor, Shobhachandra Bharilla"--Added t.p
At head of title: परमश्रद्धेय गुरुदेव पूज्य श्रीजोरावरमलजी महाराज की पुण्य-स्मृति में आयोजित
PUB: Beawar (Raj.) : Shri Agam Parkashan Samiti
Summary: Jaina canonical text on astronomy
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詳細情報 詳細情報について
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- CRID
- 1130282269351143936
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- NII書誌ID
- BA58388354
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- 出版国コード
- ii
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- タイトル言語コード
- hi
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- 出版地
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- ब्यावर (राजस्थान)
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- 統一タイトルID
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- 分類
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- LCC: QB18
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- 件名
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- LCSH: Hindu astronomy
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- データソース種別
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- CiNii Books